मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने जेलों की व्यवस्था सुधारने के लिए आधुनिक उपकरण व मशीनें लगाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि इसके लिए जल्द ही प्रस्ताव पेश किया जाए। उन्होंने जेलों में सुरक्षा-व्यवस्था का सुदृढ़ीकरण करते हुए तलाशी एवं संचार व्यवस्था को आधुनिक बनाने के निर्देश भी दिए।
वह गुरुवार को अपने सरकारी आवास पर जेलों के लिए उपकरणों व मशीनों के क्रय की कार्ययोजना की समीक्षा कर रहे थे। उन्होंने कहा कि जेल प्रशासन एवं प्रबंध व्यवस्था में सुधार के लिए सुरक्षा, संचार, तलाशी एवं तथा बंदी सुविधाओं से संबंधित विभिन्न उपकरणों एवं मशीनों की व्यवस्थाएं की जाएं। जेलों की पाकशालाओं (कैंटीन) में सफाई एवं स्वच्छता सुनिश्चित करने के लिए पाकशालाओं का आधुनिकीकरण किया जाए। ई-प्रिजन कार्ययोजना के सुदृढ़ीकरण के लिए मैनपॉवर तथा कम्प्यूटर हार्डवेयर की व्यवस्था की जाए। उन्होंने जेलों में हेवी ड्यूटी वाशिंग मशीन की व्यवस्था के संबंध में प्रस्ताव बनाने के निर्देश दिए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि आजमगढ़, लखनऊ, गौतमबुद्धनगर (नोएडा), बरेली व चित्रकूट की जेलों को उच्च सुरक्षा जेल के रूप में विकसित किया जाना है। इन जेलों में नॉन लिनियर जंक्शन डिटेक्टर, ड्यूल स्कैनर बैगेज, फुल ह्यूमन बाडी स्कैनर, मुलाकात घर के लिए कांटैक्ट लेस ग्लास, ड्रोन कैमरा, बाडी वार्न कैमरे, नाइट विजन बाइनाकुलर, उच्च क्षमता के हैंडहेल्ड मेटल डिटेक्टर, कन्सरटीना फेन्सिंग व हैवी ड्यूटी स्टेब्लाइजर सिस्टम तथा जिला जेल लखनऊ में सीसीटीवी कैमरे आदि की व्यवस्थाएं की जाएं।
उन्होंने कहा कि जेलों में हर हाल में कोविड-19 संक्रमण को फैलने से रोका जाए। बंदियों व जेल स्टाफ की कोविड-19 की चेकिंग की जाए और संक्रमण पाए जाने पर शीघ्र कार्रवाई की जाए। अपर मुख्य सचिव गृह एवं जेल अवनीश कुमार अवस्थी ने मुख्यमंत्री को अवगत कराया कि जेलों में उपकरणों व मशीनों की खरीद प्राथमिकता से की जा रही है। इस संबंध में प्रस्ताव शीघ्र ही प्रस्तुत किया जाएगा। चरणबद्ध रूप से प्रदेश की सभी जेलों में एवं जिला न्यायालयों में वीडियो कांफ्रेंसिंग इकाइयों की स्थापना कराई गई है। डीजी जेल आनंद कुमार ने जेलों के संबंध में कार्ययोजना का प्रस्तुतीकरण किया।